‘हमारी सवारी, भरोसे वाली’: GRP की नई पहल, कोड स्कैन करते ही मिलेगी ऑटो चालक की जानकारी

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उज्जैन 

धार्मिक नगरी उज्जैन आने वाले यात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए रेलवे पुलिस ने एक सराहनीय पहल शुरू की है। अब उज्जैन में महिलाएं और देश-विदेश से आने वाले तीर्थयात्री निश्चिंत होकर ऑटो में यात्रा कर सकेंगे। इंदौर में सफल शुरुआत के बाद अब उज्जैन में भी भरोसे वाली सवारी नाम से सुरक्षित ऑटो सेवा शुरू की जा रही है। इसके तहत करीब 350 ऑटो चालकों का पुलिस द्वारा वेरिफिकेशन पूरा किया जा रहा है और सत्यापन के बाद उनके ऑटो पर विशेष क्यूआर कोड लगाया जाएगा। यात्री इस कोड को स्कैन कर ऑटो चालक की पहचान, वाहन विवरण और रूट जानकारी तुरंत प्राप्त कर सकेंगे।

इस व्यवस्था का उद्देश्य अपराधों पर रोक लगाना, यात्रियों में विश्वास बढ़ाना और ऑटो सेवा को पारदर्शी बनाना है। विशेष रूप से देर रात स्टेशन से आने-जाने वाले यात्रियों, महिलाओं और अकेले सफर करने वाले श्रद्धालुओं के लिए यह कदम अत्यंत उपयोगी माना जा रहा है। आज  पुलिस अधीक्षक इंदौर रेल पद्म विलोचन शुक्ल ने ऑटो चालकों को हमारी भरोसे की सवारी योजना की विस्तृत जानकारी दी और सुरक्षित व जिम्मेदार परिवहन के लिए दिशा-निर्देश भी प्रदान किए। जल्द ही उज्जैन रेलवे स्टेशन और शहर के प्रमुख स्थानों पर क्यूआर कोड वाले ऑटो दिखाई देने लगेंगे। 

उन्होंने बताया कि ऑटो में QR कोड लगाने की शुरूआत दिसंबर के पहले हफ्ते से हो सकती है। एसपी ने बताया कि यात्री अपनी यात्रा पूर्ण होने के बाद इसी क्यूआर कोड से फीडबैक भी दे सकेंगे। वहीं क्यूआर कोड लगाने वाले ऑटो चालकों में से बेस्ट को सम्मानित भी किया जाएगा।

एसपी ने ऑटो चालकों से कहा कि सभी ऑटो चालकों को QR कोड लगवाना अनिवार्य नहीं है, जिसकी मर्जी होगी उसके ऑटो पर QR कोड लगाया जाएगा। एसपी शुक्ल ने बताया कि शासकीय रेलवे पुलिस द्वारा हमारी सवारी, भरोसे वाली टैग के साथ वाहन चालकों को सत्यापित वाहन चालक का QR कोड मिलेगा।

इस QR कोड में ऑटो चालक का नाम, पता, मोबाइल नंबर, कोई केस तो दर्ज नहीं के साथ ही ऑटो के रजिस्ट्रेशन नंबर का भी पता चल सकेगा।
 

 

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